शिवरीनारायण. भगवान जगन्नाथ 9 जून से तेज ज्वर से पीडि़त हैं। उसकी सेवा बड़े ही जतन से की जा रही है। अदरक, काली मिर्च, सौंफ और मिश्री से बने काढ़े से उनका उपचार किया जा रहा है। लंबे समय से बीमार होने से वे अपने भक्तों से भी दूर हैं। इस वजह से उन्हें भक्तों की चिंता भी सता रही है। वे लंबी बीमारी के बाद 25 जून को होने वाली यात्रा की तैयारियों को लेकर भी चिंता में हैं। रथयात्रा को लेकर यहां जोरशोर से तैयारियां चल रही है।
धार्मिक नगरी शिवरीनारायण स्थित भगवान जगन्नाथ मंदिर के पट काफी दिनों से बंद हैं। पंडितों ने बताया कि भक्तों को भगवान के जल्द ठीक होने का इंतजार है। वहीं भगवान भी अपने भक्तों से मिलने बेसब्र हैं। उनके स्वास्थ्य में काफी सुधार आया है। इसके बाद भी इसे और बेहतर करने उन्हें लगातार अदरक, काली मिर्च, सौंफ और मिश्री से बना काढ़ा दिया जा रहा है। साथ ही विभिन्न प्रकार के फलों का जूस दिया जा रहा है। भगवान की लगातार सेवा से उनके स्वास्थ्य में धीरे-धीरे सुधार हो रहा है। इससे अपने भक्तों से मिलने की आतुरता भी बढ़ रही है। इसी कड़ी में वे 25 जून को मंदिर से अपनी बहन देवी सुभद्रा और भाई बलभद्र के साथ बाहर निकलेंगे। उनके स्वागत के लिए मंदिर और मौसी मां के घर मंडप तैयार हो रहा है। प्रतिदिन भक्त मंदिर में भगवान का हाल जानने पहुंच रहे हैं। शाम को भगवान के मनोरंजन के लिए भजन-कीर्तन कर संगीतमय सेवा भी कर रहे हैं। पंडितों ने बताया कि भगवान अब ठीक होने लगे हैं। इससे सभी में खुशी की लहर है। भक्तों में सबसे पहले उनके दर्शन करने की होड़ भी लगी हुई है। मान्यता है कि स्वस्थ होने के बाद भगवान की दृष्टि जिस पर सबसे पहले पड़ती है, उसे विशेष वरदान भी मिलता है।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें