शुक्रवार, 1 जून 2018

मुख्यमंत्री डॉ. रमन ने किए दर्जनों वादे, जो आज तक नहीं हो सके पूरे, आईटी कॉलेज, बर्न यूनिट व हनुमानधारा को पर्यटन स्थल बनाने के वादे हवा-हवाई

जांजगीर-चांपा. मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह अपने 14 सालों के विकास कार्यों का गुणगान करने यात्रा कर रहे हैं। मुख्यमंत्री की विकास यात्रा जिले में दूसरी बार एक जून को पामगढ़ और जांजगीर पहुंचेगी, लेकिन जांजगीर-चांपा और पामगढ़ की जनता से मुख्यमंत्री ने पूर्व में जो वादे किए हैं, वो अब तक पूरे नहीं हो सके हैं। जिले में इंजीनियरिंग कॉलेज, बर्न यूनिट, सीटी स्कैन, चांपा के हनुमानधारा को पर्यटन स्थल बनाने, जांजगीर और चांपा के बीच फोरलेन सडक़ सहित कई ऐसे वादे हैं, जो समय के साथ फाइलों में गुम हो गए हैं। 

मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह अपने तीन कार्यकाल के दौरान किए गए विकास कार्यों का लेखा-जोखा जनता के समक्ष प्रस्तुत करने प्रदेश के सभी जिलों में पहुंच रहे हैं। विकास यात्रा के दौरान जिले में मुख्यमंत्री का दूसरा दौरा एक जून को पामगढ़ और जांजगीर में है। जांजगीर-चांपा विधानसभा में मुख्यमंत्री के आगमन को लेकर यहां की जनता फिर से उन पलों को याद कर रही है, जब मुख्यमंत्री ने यहां की जनता के समक्ष कई वादे किए थे। मुख्यमंत्री ने जिले में इंजीनियरिंग कॉलेज स्थापना की घोषणा की थी, जिसकी नींव अब तक नहीं रखी जा सकी है। यही हाल बर्न यूनिट और सिटी स्कैन का है, जबकि इन सुविधाओं के लिए यहां के लोग न केवल तरस रहे हैं, बल्कि बर्न यूनिट और सिटी स्कैन नहीं होने से हर साल दर्जनों जानें जा रही है। इसी तरह सीएम ने जांजगीर और चांपा के बीच फोरलेन सडक़ की घोषणा की थी, लेकिन इस सडक़ का अता-पता नहीं है। जांजगीर-चांपा जिला या विधानसभा का अभिन्न अंग चांपा शहर है। हसदेव महोत्सव में शिरकत करने चांपा पहुंचे मुख्यमंत्री ने यहां के लिए भी कई वादे किए थे, लेकिन इन पर ध्यान देने वाला कोई नहीं है। मुख्यमंत्री ने शहर के हनुमानधारा को पर्यटन स्थल के रूप में विकसित करने की घोषणा की थी, लेकिन इस पर भी अमल नहीं किया गया। इसी तरह हसदेव कारीडोर को मंजूरी देने के वादे कई बार किए, लेकिन अब भी यह मामला अधर में है। मुख्यमंत्री ने हसदेव महोत्सव के मंच से बुनकर पार्क के लिए भी वादा किया था, लेकिन यह भी हवा-हवाई साबित हुआ। मुख्यमंत्री के ये सारे वादे पूरे कब होंगे, यह कहा नहीं जा सकता, लेकिन इन आवश्यकताओं की पूर्ति होने के बाद ही सही मायने में जिले के विकास को बल मिलेगा।
 

पामगढ़ विधानसभा क्षेत्र का भी बुरा हाल

मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने वर्ष 2015 में शिवरीनारायण के शबरी महोत्सव में शिरकत की थी। इस दौरान उन्होंने महानदी के दोनों तटों का सौंदर्यीकरण व पौधरोपण का वादा किया था, लेकिन यह काम अब तक पूरा नहीं हो सका है। इसी तरह महानदी के दोनों तटों पर पचरी निर्माण का भी वादा किया था, जिसका अब तक पता नहीं है। यहां ओवर हैड टैंक व जल आवर्धन योजना, खरौद-ससहा (पामगढ़) और गिरौधपुरी को टूरिस्ट सर्किल के रूप में विकसित करने, शिवरीनारायण मेला महोत्सव के साथ 15 दिवसीय वृहद कृषि व पशु मेला लगाने तथा हर साल दो लाख रुपए अनुदान देने तथा कौशल उन्नयन केंद्र की स्थापना भी धरातल तक नहीं आ सकी है। मुख्यमंत्री की घोषणा के ढाई साल बाद भी इनके धरातल पर नहीं आने से यहां की जनता में नाराजगी है।
 

आखिर चांपा क्यों नहीं आ रहे मुख्यमंत्री

चांपा की जनता सवाल पूछ रही है कि मुख्यमंत्री चांपा क्यों नहीं आ रहे हैं? लोगों का कहना है कि मुख्यमंत्री ने जो वादे किए थे, वो पूरे नहीं हुए हैं, इसलिए नहीं आ रहे हैं या फिर एमएमआर पीजी कॉलेज और भालेराव मैदान की घटना की वजह से नहीं आ रहे हैं। शहर की प्रमुख मांगों की अनदेखी होने से लोग पहले ही नाराज है। खासकर, घोषणा के बावजूद हनुमानधारा को पर्यटन स्थल के रूप में विकसित नहीं करने तथा दस सालों से प्रस्ताव भेजने के बावजूद हसदेव कारीडोर के लिए बजट नहीं देना शहर की उपेक्षा माना जा रहा है। हसदेव कारीडोर के अलावा 209 किलोमीटर लंबी हसदेव सफाई को चुनावी घोषणा पत्र में शामिल करने की मांग भी जोरों पर है, क्योंकि हसदेव सेवा प्रकल्प के संयोजक अखिलेश कोमल पाण्डेय क्षेत्र के हजारों लोगों की मौजूदगी में पदयात्रा भी कर चुके हैं।

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