मंगलवार, 10 अक्टूबर 2017

विधिक जागरूकता की लघु फिल्म ‘नाबालिग’ एवं ‘सार्थक’ का प्रदर्शन, हाईस्कूल कुटरा में विधिक जागरूकता कार्यक्रम आयोजित

जांजगीर-चांपा. जिला न्यायाधीश एवं जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के अध्यक्ष राजेश श्रीवास्तव के निर्देश पर जिला विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा बाल विवाह प्रतिषेध एवं बाल श्रम प्रतिषेध पर विशेष विधिक जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन पंडित रामसागर पाण्डेय शासकीय हाईस्कूल कुटरा में किया गया।

इस दौरान 100 से अधिक छात्र-छात्राओं तथा विद्यालय के शिक्षक के मध्य बाल विवाह प्रतिषेध एवं बाल श्रम प्रतिषेध पर आधारित विधिक जागरूकता की लघुफिल्मों ‘नाबालिग’ एवं ‘सार्थक’ का प्रदर्शन पंडित रामसागर पाण्डेय शासकीय हाईस्कूल कुटरा में किया गया। प्राधिकरण की सचिव शुभदा गोयल ने प्रत्येक लघुफिल्म को तैयार करने के उद्देश्य के बारे में बताते हुए लघु फिल्मों की कहानी संक्षेप में बताई। उनके द्वारा बालविवाह के दुष्प्रभाव के बारे में बताया गया। बालविवाह के संबंध में कानूनी प्रावधान के बारे में बताया गया कि 18 वर्ष से कम उम्र की लडक़ी एवं 21 वर्ष से कम उम्र के लडक़े का विवाह बालविवाह की श्रेणी में आता है और बालविवाह करने वाला, कराने वाला तथा बालविवाह में किसी भी तरह से सहयोग देने वाला, बालविवाह में शामिल होने वाला अपराधी की श्रेणी में आता है और कानून में इसके लिए दंड का प्रावधान है। इसी प्रकार बालक-बालिकाओं को शिक्षा उपलब्ध कराना हमारा दायित्व है। 

प्राधिकरण की सचिव शुभदा गोयल ने कहा कि राज्य में बालकों के लिए अनिवार्य शिक्षा योजना बनाई गई  है। बालकों से किसी भी प्रकार का श्रमिक के रूप में कार्य लेने बालप्रतिषेध अधिनियम के प्रावधानों के तहत् दंडनीय है। विधिक जागरूकता कार्यक्रम को अधिवक्ता राजेश पाण्डेय ने भी संबोधित किया। कार्यक्रम का संचालन विद्यालय के व्याख्याता अनुराग तिवारी द्वारा किया। विधिक जागरूकता कार्यक्रम में परवीन बानो, विशाल तिवारी, सनतकुमार पटेल, अशोक साहू, रामेश्वरप्रसाद श्रीवास सहित विद्यालय के प्राचार्य एलआर साहू, व्याख्याता उमेशकुमार चौबे, डीआर थवाईत भी उपस्थित रहे।

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