गुरुवार, 7 दिसंबर 2017

हरी साड़ी ने पैदा की उलझन, लोगों में बन रही भ्रम की स्थिति, स्वास्थ्य संयोजक कर्मचारी संघ ने ज्ञापन सौंप की समस्या के निदान की मांग

सक्ती. नगर के घरों से सूखा एवं गीला कचरा एकत्रित करने वाली समूह की महिलाओं के ड्रेस कोड हरी साड़ी एवं स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं की हरी साड़ी को लेकर लोगों में इन दिनों अजीब सी भ्रांति बन गई है। लोगों को ये बात समझ नहीं आ रहा है कि हरी साड़ी पहनी महिलाएं आखिर हैं तो हैं कौन? वहीं साड़ी का रंग समान होने से महिला स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं को शर्मिंदगी महसूस हो रही है।

दरअसल, सफाई कर्मचारियों एवं मित्र महिलाओं के ड्रेस कोड को लेकर अब महिला स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं को भी ग्रामीण क्षेत्रों सहित नगर में सफाई मित्र के रूप में लोग जानने-पहचानने लगे हैं, जिससे उन्हें ड्रेस कोड को लेकर शर्मिंदगी एवं हीनभावना का सामना करना पड़ रहा है। ड्रेस कोड का रंग एक होने के कारण महिला स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं को स्वास्थ्य विभाग के कार्यो का प्रचार-प्रसार करने के सम्मानजनक कार्य के बाद भी परेशानी एवं मानसिक त्रासदी झेलनी पड़ रही है। स्वास्थ्य संयोजक कर्मचारी संघ के संभागीय सचिव गजेन्द्र भोसले के नेतृत्व में स्वास्थ्य संयोजक कर्मचारी संघ द्वारा सात दिसम्बर गुरूवार को नगरपालिका कार्यालय पहुंचकर स्वच्छता अभियान के मिशन प्रेरक अमित गोस्वामी को अपनी समस्या का निदान करने के लिए इस संबंध में लिखित आवेदन सौंपा गया। इस अवसर पर नगरपालिका अध्यक्ष श्यामसुन्दर अग्रवाल सहित अन्य जनप्रतिनिधि एवं नगर पालिका के कर्मचारी उपस्थित थे। संभागीय सचिव भोसले ने बताया कि इस समस्या के निदान के लिए संघ के लोगों द्वारा प्रदेश भर में नगरीय निकाय में ज्ञापन सौंपा गया है, ताकि महिला स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं को हीनभावना का सामना न करना पड़े।

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